फिल्‍म समीक्षा आई हेट लव स्‍टोरीज

बालिवुद का रोमांस


-अजय ब्रह्मात्‍मज

चौंकिए नहीं, जब करण जौहर और उनके कैंप के डायरेक्टर हिंदी फिल्मों के बारे में अंग्रेजी में सोचना शुरू करते हैं और फिर उसे फायनली हिंदी में लाते हैं तो बालीवुड के अक्षर बदल कर बालिवुद हो जाते हैं। इस फिल्म के एक किरदार के टी शर्ट पर बालिवुद लिखा साफ दिखता है। बहरहाल, आई हेट लव स्टोरीज मेनस्ट्रीम हिंदी सिनेमा के लव और रोमांस की कैंडीलास फिल्मों के मजाक से आरंभ होती है और फिर उसी ढर्रे पर चली जाती है। जैसे कि कोई बीसियों बार सुने-सुनाए लतीफे को यह कहते हुए सुनाए कि आप तो पहले सुन चुके होंगे, फिर भी..और हम-आप हो..हो..कर हंसने लगें। वैसे ही यह फिल्म अच्छी लग सकती है।

पुनीत मल्होत्रा चालाक निर्देशक हैं। उन्होंने हिंदी फिल्मों की लव स्टोरी का मखौल उड़ाते हुए फिर से घिसी-पिटी लव स्टोरी बना दी है। इस आसान रास्ते के बावजूद फिल्म बांधे रखती है, क्योंकि सोनम कपूर और इमरान खान के लब एडवेंचर का आकर्षण बना रहता है। दोनों को पहली बार एक साथ नोंक-झोंक करते और एक-दूसरे पर न्योछावर होते देख कर अच्छा लगता है। दोनों में भरपूर एनर्जी है। लेखक-निर्देशक ने हीरो-हीरोइन पर ही मुख्य रूप से फोकस किया है। यही वजह है कि सपोर्टिग कास्ट कमजोर और अधूरे लगते हैं। सिमरन के मां-बाप, जे की मां और सिमरन के प्रेमी राज को ठीक से नहीं गढ़ा गया है। अगर वे पूरे एवं मजबूत किरदार होते तो फिल्म ज्यादा प्रभावशाली होती।

पूरी फिल्म में एक चमक और चकाचौंध है, जो नजर नहीं हटने देती। पुनीत मल्होत्रा का यही प्रयास रहा है कि हम फिल्म की सजावट में ही उलझे रहें और बुनावट की तरफ ध्यान न दें। वे अपने मकसद में सफल रहे हैं। हिंदी फिल्मों के रेफरेंस से जवान हो रही पीढ़ी को आई हेट लव स्टोरीज भा जाएगी, क्योंकि इसमें उन्हें अपना एटीट्यूड और कंफ्यूजन दिखेगा। इस लिहाज से पुनीत मल्होत्रा अपने टार्गेट ग्रुप को संतुष्ट कर लेंगे। फिर भी इस फिल्म की संरचना किसी फिल्मी सेट की तरह कमजोर, नकली और कामचलाऊ है। सोनम और इमरान की जोड़ी भाती है। दोनों के बीच अच्छी केमिस्ट्री डेवलप हुई है। हालांकि सोनम का परफार्मेस पिछली दोनों फिल्मों से कमजोर है, लेकिन वह साज-सज्जा से आकर्षक लगता है। इसी प्रकार इमरान का एकआयामी किरदार भी समझ में आता है। करण जौहर के प्रतिरूप की भूमिका निभा रहे समीर सोनी को मेहनत करनी पड़ी है। बाकी कलाकारों और किरदारों पर निर्देशक का ध्यान नहीं रहा है। फिल्म का गीत-संगीत चलताऊ है।

** दो स्टार


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