प्रोमोशन के दांव-पेंच

-अजय ब्रह्मात्‍मज

खबरों, अपीयरेंस, संगत-सोहबत के अलावा अब आप फिल्मों के ट्रेलर और प्रोमोशन से भी समझ और जान सकते हैं कि इन दिनों हिंदी फिल्म इंडस्ट्री की किस लॉबी में कौन-कौन हैं? कैसे? पिछले हफ्ते रिलीज हुई बॉडीगार्ड आपने देखी होगी। इस फिल्म के साथ करण जौहर की फिल्म अग्निपथ का ट्रेलर जारी किया गया। चार महीनों के बाद 2012 की जनवरी के दूसरे हफ्ते में यह फिल्म रिलीज होगी, लेकिन करण जौहर ने सुनिश्चित किया कि उनकी फिल्म का ट्रेलर बॉडीगार्ड के साथ जरूर आ जाए। करण जौहर इस फिल्म के निर्माता हैं। उन्होंने इस चाहत के लिए संजय दत्त और रितिक रोशन का इस्तेमाल किया। सलमान खान के साथ उनके संबंधों को पहले दुरुस्त किया और फिर उसका लाभ उठाया। सभी जानते हैं कि करण जौहर और शाहरुख खान के करीबी संबंध हैं, जबकि शाहरुख खान और सलमान खान की खुन्नस के बारे में भी सभी जानते हैं। सलमान खान की फिल्म बॉडीगार्ड ईद के मौके पर रिलीज हुई। जबरदस्त प्रचार और उम्मीद की इस फिल्म के साथ ट्रेलर आने का मतलब अपनी फिल्म के लिए अभी से दर्शकों में उत्सुकता बढ़ाना है।

ईद के दिन रिलीज हुई बॉडीगार्ड के प्रोमोशन के लिए सलमान खान स्वयं मौजूद नहीं थे। आकस्मिक इलाज के सिलसिले में वे अमेरिका चले गए थे। उनकी अनुपस्थिति में इमरान खान ने मुंबई के थिएटरों में जाकर बॉडीगार्ड का प्रचार किया। इसका दोहरा-तिहरा फायदा हुआ। एक तो इमरान खान ने इसी बहाने सलमान खान से अपनी हमदर्दी जाहिर की और उनके एहसानों का बदला चुकाया। सलमान खान अपनी तरफ से इमरान खान और आमिर खान की फिल्मों की तारीफ करने से नहीं चूकते। इस कोशिश में इमरान खान ने अपनी अगली फिल्म मेरे ब्रदर की दुल्हन के लिए भी दर्शक जुटाए। सलमान खान के प्रशंसकों और दर्शकों का एक टुकड़ा उनकी फिल्म का दर्शक बनेगा।

पिछले दिनों रास्कल्स के फ‌र्स्ट लुक के इवेंट में प्रकाश झा और अमिताभ बच्चन पहुंचे। ठीक है कि उनकी फिल्म आरक्षण आ रही थी, लेकिन उन्हें अजय देवगन और संजय दत्त से अपनी नजदीकी भी बतानी थी। राजनीति के समय प्रकाश झा और अजय देवगन के संबंधों में खटास आ गई थी। इसी बहाने उसे थोड़ा मीठा किया गया। संजय दत्त और अजय देवगन से अमिताभ बच्चन के मधुर रिश्ते हैं। दरअसल, फिल्मों के प्रोमोशन में सारे स्टार अपने दोस्तों और हमददरें का भरपूर इस्तेमाल कर रहे हैं। एक-दूसरे की लोकप्रियता को भुनाने का वे कोई मौका नहीं चूकते। हिंदी फिल्म इंडस्ट्री के केंद्र में मौजूद स्टार और डायरेक्टर ही ऐसा नहीं करते। परिधि पर बैठे फिल्मकार भी यह रणनीति अपनाते हैं। नॉट ए लव स्टोरी के साथ दैट गर्ल इन येलो बूट्स का ट्रेलर चला। लंबे समय से एक-दूसरे से मुंह फेरे राम गोपाल वर्मा और अनुराग कश्यप को इसमें कोई दिक्कत नहीं हुई। साहब बीवी और गैंगस्टर को मिल रहे सपोर्ट में भी इसे देखा जा सकता है। प्रोमोशन की पॉलिटिक्स सिर्फ इवेंट, शो या रिलीज तक ही सीमित नहीं है। टीवी शो और सीरियल में फिल्मों के प्रोमोशन में भी लगाव और भेदभाव नजर आता है। शाहिद कपूर और सोनम कपूर की फिल्म मौसम आ रही है। खबर थी कि एकता कपूर ने अपने पॉपुलर सीरियल बड़े अच्छे लगते हैं में इसके प्रोमोशन की अनुमति नहीं दी। वह इस सीरियल में अपनी फिल्म डर्टी पिक्चर्स का ही प्रचार करेंगी।

पहले वितरक और प्रदर्शक तय करते थे कि वे अपनी फिल्मों के साथ किन फिल्मों के ट्रेलर चलाएंगे। आम तौर पर आगामी फिल्मों के ट्रेलर ही नई फिल्मों के साथ जारी किए जाते थे। कोई भेदभाव नहीं रखा जाता था। अभी फिल्मों का बिजनेस तात्कालिक प्रभाव से निर्देशित हो रहा है। पहले वीकएंड में ही फिल्म का कलेक्शन तय हो जाता है, इसलिए प्रोड्यूसर, डायरेक्टर और स्टार की सारी मारामारी और कोशिश इमीडिएट इफेक्ट पर रहती है। प्रोमोशन उसी इंटरेस्ट से संचालित हो रहा है और रिश्तों को भी जाहिर कर रहा है।

Comments

Arvind Mishra said…
दर्शकों को अब सावधान रहना होगा !

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